समझ
समझे बिना किसी को पसंद ना करो
और समझे बिना किसी को खो भी मत देना
क्योंकि फिक्र दिल में होती है
शब्दों में नहीं
और गुस्सा शब्दों में होता है दिल में नही।
समझे बिना किसी को पसंद ना करो
और समझे बिना किसी को खो भी मत देना
क्योंकि फिक्र दिल में होती है
शब्दों में नहीं
और गुस्सा शब्दों में होता है दिल में नही।