सद्विचार
सद्विचार
मनुष्य प्रभु को यत्र-तत्र खोजता रहता है और प्रभु मनुष्य के मन मंदिर में खुद को टटोलते रहते हैं l ये अन्तर जिस दिन मनुष्य समझ जाएगा उस दिन वह प्रभु के चरणों में स्थान बना लेगा l इसलिए भटके नहीं भीतर ही तलाश करें उस प्रभु को l अपने सत्कर्मों के माध्यम से l
अनिल कुमार गुप्ता “अंजुम”