सत्य/असत्य
सत्य का ज्ञान नहीं, जो जाना माना सही।
कहलो सुनलो राम कहानी,साथ देगी यही ।
कोई कहे धरा चलती,कोई कहे सूर्य गति भली।
ब्रह्मांड की उत्पत्ति ,खोज हित विज्ञान चली।
धरा पर है जीवन, चाँद पर लगा मन,
यहाँ रहना जाने कब,वहाँ सत्य खोज अब।
विज्ञान कहता सदा,होता नहीं देवता ।
आध्यात्म की समझ,मानव में देव रहता।
सत्य और असत्य, दोनों है जुड़वा भाई।
भ्रमित होता मानव,खोजता अपनी भलाई ।
सत्य सिर्फ बचन नहीं, कर्म में भी सत्य हो।
हरिशचंद्र की कहानी, सत्य तब परिपूर्ण हो ।।