Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
10 Jan 2022 · 1 min read

संतुष्टि

प्राप्त सफलता और सफलता से प्राप्त संतुष्टि के बीच एक खोखली जगह हमेशा बनी रहती है ; जिसे कभी पूरा नहीं किया जा सकता है।

Language: Hindi
1 Like · 2 Comments · 114 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Shyam Sundar Subramanian
View all
You may also like:
*प्राण-प्रतिष्ठा (दोहे)*
*प्राण-प्रतिष्ठा (दोहे)*
Ravi Prakash
-आगे ही है बढ़ना
-आगे ही है बढ़ना
Seema gupta,Alwar
राखी धागों का त्यौहार
राखी धागों का त्यौहार
Mukesh Kumar Sonkar
फोन:-एक श्रृंगार
फोन:-एक श्रृंगार
पूर्वार्थ
#मुक्तक
#मुक्तक
*प्रणय प्रभात*
अधूरी सी ज़िंदगी   ....
अधूरी सी ज़िंदगी ....
sushil sarna
तो तुम कैसे रण जीतोगे, यदि स्वीकार करोगे हार?
तो तुम कैसे रण जीतोगे, यदि स्वीकार करोगे हार?
महेश चन्द्र त्रिपाठी
ज़बानें हमारी हैं, सदियों पुरानी
ज़बानें हमारी हैं, सदियों पुरानी
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
हिन्दी पर नाज है !
हिन्दी पर नाज है !
Om Prakash Nautiyal
गंगा- सेवा के दस दिन (आठवां दिन)
गंगा- सेवा के दस दिन (आठवां दिन)
Kaushal Kishor Bhatt
रहता हूँ  ग़ाफ़िल, मख़लूक़ ए ख़ुदा से वफ़ा चाहता हूँ
रहता हूँ ग़ाफ़िल, मख़लूक़ ए ख़ुदा से वफ़ा चाहता हूँ
Mohd Anas
माटी
माटी
जगदीश लववंशी
जय रावण जी / मुसाफ़िर बैठा
जय रावण जी / मुसाफ़िर बैठा
Dr MusafiR BaithA
वेदना ऐसी मिल गई कि मन प्रदेश में हाहाकार मच गया,
वेदना ऐसी मिल गई कि मन प्रदेश में हाहाकार मच गया,
Sukoon
मेरी हर कविता में सिर्फ तुम्हरा ही जिक्र है,
मेरी हर कविता में सिर्फ तुम्हरा ही जिक्र है,
लक्ष्मी वर्मा प्रतीक्षा
फितरत आपकी जैसी भी हो
फितरत आपकी जैसी भी हो
Arjun Bhaskar
"कुछ खास हुआ"
Lohit Tamta
अक्सर औरत को यह खिताब दिया जाता है
अक्सर औरत को यह खिताब दिया जाता है
Harminder Kaur
महापुरुषों की सीख
महापुरुषों की सीख
Dr. Pradeep Kumar Sharma
जिसकी भी आप तलाश मे हैं, वह आपके अन्दर ही है।
जिसकी भी आप तलाश मे हैं, वह आपके अन्दर ही है।
Yogi Yogendra Sharma : Motivational Speaker
Acrostic Poem- Human Values
Acrostic Poem- Human Values
jayanth kaweeshwar
दस्तूर
दस्तूर
Davina Amar Thakral
वक्त-वक्त की बात है
वक्त-वक्त की बात है
Pratibha Pandey
कई युगों के बाद - दीपक नीलपदम्
कई युगों के बाद - दीपक नीलपदम्
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
बचपन
बचपन
लक्ष्मी सिंह
मोहब्बत अधूरी होती है मगर ज़रूरी होती है
मोहब्बत अधूरी होती है मगर ज़रूरी होती है
Monika Verma
नज़र मिला के क्या नजरें झुका लिया तूने।
नज़र मिला के क्या नजरें झुका लिया तूने।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
कितना अजीब ये किशोरावस्था
कितना अजीब ये किशोरावस्था
Pramila sultan
ख़ामोशी
ख़ामोशी
Dipak Kumar "Girja"
23/45.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
23/45.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
Loading...