श्रृद्धा सुमन
जीवन में एक वट वृक्ष भाँति जिस की छांव तले हम बड़े हुए।
संकटों से सतत् जूझने हेतु धैर्य और साहस की प्रेरणा लेते हुए।
अनुशासन , निस्वार्थ सेवा भाव , संवेदना , त्याग एवं समर्पण निहित संस्कारों से पोषित होते हुए।
परस्पर सौह्रार्द एवं पारिवारिक सहअस्तित्व भावना से संचारित होते हुए।
स्वतंत्र विचारधारा , आत्मसम्मान एवं आत्मविश्वास भावना की प्रेरणा लेते हुए।
समस्याओं के विश्लेषण एवं निराकरण हेतु पर्याप्त ज्ञान एवं प्रज्ञा शक्ति विकसित करते हुए।
मेरे परिवार का आधार स्तंभ , जीवन संबल एवं सुरक्षा कवच , उस महान विभूति मेरे पिता , मेरे अस्तित्व के जनक एवं पालनहार को ,
इस पितृ दिवस पर श्रृद्धा सुमन अर्पण करता हूं।