“श्री अनंत चतुर्दशी”
श्री अनंत चतुर्दशी
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भाद्र मास , शुक्ल-पक्ष, और तिथि चतुर्दशी;
करो पूजा श्री अनंत की, जीवन में हो खुशी।
हर संकट से सदा, भगवान श्री अनंत निवारे;
ये ही बनते, हर दीन व दुखियों के भी सहारे।
आज जो भी डोर बांधते हैं, चौदह गांठ वाले;
भगवान ‘श्री विष्णु’ ही बनते, उसके रखवाले।
विधि विधान से पूजा करो, इस अनंत डोर की;
बांधो अनंत,खुशियां भी आएंगी बिना शोर की।
बंधे जो भी जन, इस पवित्र अनंत के बंधन में ;
रहे निरामिष और लीन रहे , विष्णु के वंदन में।
हर कष्ट दूर हो जाये उसका,तब इस जीवन में;
सब झलकाओ अब, श्रद्धा-भाव इस पूजन में।
सर्वकामना की हो पूर्ति, कभी न होता पराजय;
आओ मिल बोलें , ‘श्री अनंत भगवान की जय’।
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…….✍️पंकज कर्ण
………….कटिहार।।
१९-९-२०२१