Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
5 May 2024 · 1 min read

श्रमजीवी

श्रमजीवी

बाजू-बल से जीनेवाला।
स्वेद-नीर को पीनेवाला।
रहता जाने क्यों हतभागी?
कोटि कर्म का फल बैरागी।

चिंदी चिथड़ी एक लँगोटी।
और उदर फाँके की रोटी।
एक अँगोछा लेकर काँधे।
शीश कभी तो कटि पर बाँधे।

चूम रहे कर कर्कश छाले।
आनन पर कुछ बेबस जाले।
जोड़ रहा वह महल अटारी।
उसकी कुटिया में लाचारी।

करती आँखें दो रखवाली।
संग दिहाड़ी मिलती गाली।
झाड़-पोंछ तन वह घर चलता।
श्रमजीवी ऐसे ही पलता।

-©नवल किशोर सिंह

1 Like · 63 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
*अभिनंदन उनका करें, जो हैं पलटूमार (हास्य कुंडलिया)*
*अभिनंदन उनका करें, जो हैं पलटूमार (हास्य कुंडलिया)*
Ravi Prakash
इस तरह कब तक दरिंदों को बचाया जाएगा।
इस तरह कब तक दरिंदों को बचाया जाएगा।
सत्य कुमार प्रेमी
"विद्या"
Dr. Kishan tandon kranti
ओ मेरी सोलमेट जन्मों से - संदीप ठाकुर
ओ मेरी सोलमेट जन्मों से - संदीप ठाकुर
Sandeep Thakur
शीर्षक- तुम बनाओ अपनी बस्ती, हमसे दूर
शीर्षक- तुम बनाओ अपनी बस्ती, हमसे दूर
gurudeenverma198
स्पर्श
स्पर्श
Ajay Mishra
बाबा मुझे पढ़ने दो ना।
बाबा मुझे पढ़ने दो ना।
लक्ष्मी वर्मा प्रतीक्षा
कितनी गौर से देखा करते थे जिस चेहरे को,
कितनी गौर से देखा करते थे जिस चेहरे को,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
........?
........?
शेखर सिंह
सरकार अगर बेटियों के लिए पिस्टल/रिवाल्वर का लाइसेंस आसान व उ
सरकार अगर बेटियों के लिए पिस्टल/रिवाल्वर का लाइसेंस आसान व उ
Anand Kumar
किसी अनजाने पथ पर भय जरूर होता है,
किसी अनजाने पथ पर भय जरूर होता है,
Ajit Kumar "Karn"
निष्ठुर संवेदना
निष्ठुर संवेदना
Alok Saxena
अगर आप हमारी मोहब्बत की कीमत लगाने जाएंगे,
अगर आप हमारी मोहब्बत की कीमत लगाने जाएंगे,
Kanchan Alok Malu
मैं नन्हा नन्हा बालक हूँ
मैं नन्हा नन्हा बालक हूँ
अशोक कुमार ढोरिया
सच
सच
Neeraj Agarwal
Dr Arun Kumar shastri
Dr Arun Kumar shastri
DR ARUN KUMAR SHASTRI
अहसास तेरे होने का
अहसास तेरे होने का
Dr. Ramesh Kumar Nirmesh
पृथ्वी
पृथ्वी
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
तुम छा जाते मेरे दिलों में एक एक काली घटा के वाई फाई जैसे।
तुम छा जाते मेरे दिलों में एक एक काली घटा के वाई फाई जैसे।
Rj Anand Prajapati
मनवा मन की कब सुने, करता इच्छित काम ।
मनवा मन की कब सुने, करता इच्छित काम ।
sushil sarna
*जन्म-दिवस आते रहें साल दर साल यूँ ही*
*जन्म-दिवस आते रहें साल दर साल यूँ ही*
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
🙅18वीं सरकार🙅
🙅18वीं सरकार🙅
*प्रणय*
महकती नहीं आजकल गुलाबों की कालिया
महकती नहीं आजकल गुलाबों की कालिया
Neeraj Mishra " नीर "
हिटलर ने भी माना सुभाष को महान
हिटलर ने भी माना सुभाष को महान
कवि रमेशराज
माँ-बाप का किया सब भूल गए
माँ-बाप का किया सब भूल गए
सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life)
पढ़ें बेटियां-बढ़ें बेटियां
पढ़ें बेटियां-बढ़ें बेटियां
Shekhar Chandra Mitra
3681.💐 *पूर्णिका* 💐
3681.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
अपना पन तो सब दिखाते है
अपना पन तो सब दिखाते है
Ranjeet kumar patre
प्रभु गुण कहे न जाएं तुम्हारे। भजन
प्रभु गुण कहे न जाएं तुम्हारे। भजन
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
There are instances that people will instantly turn their ba
There are instances that people will instantly turn their ba
पूर्वार्थ
Loading...