खुद पर भी यकीं,हम पर थोड़ा एतबार रख।
भय भव भंजक
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
सत्य पर चलना बड़ा कठिन है
जब सूरज एक महीने आकाश में ठहर गया, चलना भूल गया! / Pawan Prajapati
घर आये हुये मेहमान का अनादर कभी ना करना.......
होली
सूरज राम आदित्य (Suraj Ram Aditya)
*Max Towers in Sector 16B, Noida: A Premier Business Hub 9899920149*
तू मेरे इश्क की किताब का पहला पन्ना
शराब मुझको पिलाकर तुम,बहकाना चाहते हो
जो मेरी जान लेने का इरादा ओढ़ के आएगा
खुद को इतना हंसाया है ना कि
मुक्तक
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
जीवन के बसंत
सुशील मिश्रा ' क्षितिज राज '