शहीदों की इच्छा***
चल दिये अपनी जान वतन
पर फिदा करके,
सोच रही है तड़पती आत्मा
वार भारी पक्का होगा,
आतंक के खिलाफ निर्णायक जंग होगा,
जीत अपनी पक्की
पक्का इंसाफ होगा,
मिलेगी आत्मा को शान्ति
ये ही हमारा मान होगा,
ना चाहिए हमे धन-दौलत
न ही इच्छा शोहरत की है,
बस हमारी यही तमन्ना
शान्ति का इतिहास रचने की
क़ुरबानी जायेगी नही व्यर्थ
ये बात सच्ची है,
दुश्मनो पर पड़ जायेगे भारी
जीत अपनी पक्की है
दुनिया मान जायेगी हमारा लोहा,
और कहेगी….
हिदुस्तानी फौज विजयी शक्ति है
देश भक्ति उनकी गजब की सच्ची है।
^^^जय हिन्द^^^
******दिनेश शर्मा******