वो हार गई… वो हार गई…
ज़ब सत्ता मद मे, चूर हुई //
इंसाफ डगर अब डोल रही //
वो गूंगी बच्ची बोल रही //
शासन-प्रशासन क्यों मौन रही?
बच्ची की रूह झंकृत हुई //
दोषी भक्षक निर्भिज्ञ हुए //
आज कानून की पुनः, धजिया उड़ी //
वो हार गई, वो हार गई //
~:कविराज श्रेयस सारीवान