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1 Mar 2023 · 1 min read

विरान तो

विरान तो
तुम्हारी सोच में थी
वरना
हृदय के अंदर तो
केवल हरियाली थी
जिसे तुम कभी
देख न पाये!

रीता सिंह ‘सर्जना’

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