Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
14 Nov 2024 · 1 min read

वंशबेल

मेरे पिता ने एक पुरानी सी डायरी में
लिखकर रखी है अपनी वंशावली।
सब पिताओं के नाम विधिवत शाखाएं बनाकर
उनके पिता, फिर उनके पिता, फिर उनके भी पिता, उनके, उनके, उनके भी पिता।
पर मैं आश्वस्त हूं कि वो नहीं जानते होंगे
उन औरतों के नाम जो उनकी उन्नत वंशबेल पोसने में मर खप गईं।
नहीं जानते होंगे इन पिताओं की मांओं के नाम। यहां तक कि अपने पिता की दादी का भी नाम,
वो जानते हैं कि उनके परबाबा ने की थीं दो शादियां।
पर वो नहीं जानते कि उनकी वंशबेल बढ़ाने के लिए,
वंश की किस पुत्रहीना या बांझ ने सौतन परछी थी!
वो नहीं जानते कि, उनके वंश के किसी पुरुष को जन्मने के लिए किस महिला ने रखे थे सैकड़ों निर्जल व्रत।
कौन थी वो जो किसी को जन्मते ही मर गई थी, वो नहीं जानते।
वो इनमें से एक का भी नाम नहीं जानते।
लोग जानते हैं किस भूमि पर किस तरह के पेड़ उगते हैं।
लेकिन वो नहीं जानते, उनके वंश की किस स्त्री के पेट से कौन उगा था
जानने की कोशिश भी नहीं की होगी
किसी ने भी नहीं, कभी भी नहीं।
© शिवा अवस्थी

41 Views

You may also like these posts

" दूरियां"
Pushpraj Anant
15🌸बस तू 🌸
15🌸बस तू 🌸
Mahima shukla
नेता
नेता
OM PRAKASH MEENA
मेरी भी सुनो
मेरी भी सुनो
भरत कुमार सोलंकी
4335.*पूर्णिका*
4335.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
कबीरा गर्व न कीजिये उंचा देखि आवास।
कबीरा गर्व न कीजिये उंचा देखि आवास।
Indu Singh
ये इश्क है
ये इश्क है
हिमांशु Kulshrestha
" गुजारिश "
Dr. Kishan tandon kranti
जीवन का प्रथम प्रेम
जीवन का प्रथम प्रेम
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
पिछले पन्ने 6
पिछले पन्ने 6
Paras Nath Jha
आज नहीं तो कल मै जागू
आज नहीं तो कल मै जागू
Buddha Prakash
*आहा! आलू बड़े मजेदार*
*आहा! आलू बड़े मजेदार*
Dushyant Kumar
बड़े बुजुर्गों का गिरा, जहां नैन से नीर
बड़े बुजुर्गों का गिरा, जहां नैन से नीर
RAMESH SHARMA
माॅंं ! तुम टूटना नहीं
माॅंं ! तुम टूटना नहीं
PRATIBHA ARYA (प्रतिभा आर्य )
* इस तरह महॅंगाई को काबू में लाना चाहिए【हिंदी गजल/ गीति
* इस तरह महॅंगाई को काबू में लाना चाहिए【हिंदी गजल/ गीति
Ravi Prakash
💐प्रेम कौतुक-563💐
💐प्रेम कौतुक-563💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
*SPLIT VISION*
*SPLIT VISION*
Poonam Matia
रात  जागती  है रात  भर।
रात जागती है रात भर।
रामनाथ साहू 'ननकी' (छ.ग.)
कभी तो देखने आओ जहाँ हर बार लगता है
कभी तो देखने आओ जहाँ हर बार लगता है
अंसार एटवी
*पर्वतों की सैर*
*पर्वतों की सैर*
sudhir kumar
संसार में सही रहन सहन कर्म भोग त्याग रख
संसार में सही रहन सहन कर्म भोग त्याग रख
पूर्वार्थ
आप प्लस हम माइनस, कैसे हो गठजोड़ ?
आप प्लस हम माइनस, कैसे हो गठजोड़ ?
डॉ.सीमा अग्रवाल
#लघुकविता-
#लघुकविता-
*प्रणय*
स्पर्श
स्पर्श
Kavita Chouhan
बुजुर्गों ने कहा है
बुजुर्गों ने कहा है
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
सचमुच वो मुहब्बत करते हैं
सचमुच वो मुहब्बत करते हैं
Mahesh Tiwari 'Ayan'
मैं भविष्य की चिंता में अपना वर्तमान नष्ट नहीं करता क्योंकि
मैं भविष्य की चिंता में अपना वर्तमान नष्ट नहीं करता क्योंकि
Rj Anand Prajapati
अध्यापक दिवस
अध्यापक दिवस
SATPAL CHAUHAN
तस्मात् योगी भवार्जुन
तस्मात् योगी भवार्जुन
सुनीलानंद महंत
मिनखं जमारौ
मिनखं जमारौ
जितेन्द्र गहलोत धुम्बड़िया
Loading...