रोशन किया जिन्होंने आदर्शों का मेला
रोशन किया जिन्होंने आदर्शों का मेला
रोशन किया जिन्होंने आदर्शों का मेला
वो गीत बनके दिल में समाते चले गए
जो मर मिटे मादरे वतन की खातिर
वो राग जिन्दगी का सुनाते चले गए
सिखा गए जो जिन्दगी जीने का सलीका
वो राग जिन्दगी का सुनाकर चले गए
बदल गयी जिन्दगी जिनके विचारों की पूँजी से
वो शख्स जिन्दगी की अमानत हो गए
जिनके चरणों की धूलि ने किये रोशन किस्मत के सितारे
वो दीप रौशनी के जला के चले गए
करीब जो लाये हमें खुदा के दर के
वो जोत इबादत की जला के चले गए
जिए जो ताउम्र इंसानियत की राह पर
वो ज़ज्बा इंसानियत का जगा के चले गए
मानवता को किया जिन्होंने अपने कर्म का गहना
वो राह मानवता की दिखा के चले गए