रोमांटिक रिबेल
वैसे तो
मैं बस प्रेम और
सौंदर्य का
कवि हूं
लेकिन मुझसे
अपने देश और
समाज में
होने वाले अनर्थ
देखे नहीं जाते।
इसलिए
विवश होकर
मुझे
विद्रोह का मशाल
उठाना पड़ता है..
वैसे तो
मैं बस प्रेम और
सौंदर्य का
कवि हूं
लेकिन मुझसे
अपने देश और
समाज में
होने वाले अनर्थ
देखे नहीं जाते।
इसलिए
विवश होकर
मुझे
विद्रोह का मशाल
उठाना पड़ता है..