रजनी छंद
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नित नये ही ढंग से कान्हा सताता क्यों?
प्रीत की बंसी बजा मनवा रिझाता क्यों?
तीर यमुना धार कल- कल भाव सी बहती,
पीर मेटे से न मिटती बोल राधा क्यों?
प्रीत है मोहन किशोरी प्रीति है कान्हा
स्वप्न सजते नैन नीलम मोद रंजन क्यों?
राधिका रटती रुहानी मोहना मनके
नैन बरसें रे! निगोड़े मेघ बनके क्यों?
नीलम शर्मा ✍️