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22 Feb 2024 · 1 min read

ये दुनियां दोधारी तलवार।

ये दुनियां दोधारी तलवार।

मीठी मीठी बनकर करती,
बड़े चाव से प्यार,
पीछे-पीछे करती देखो छल से वार हजार,
समझ न आवे दुनियांदारी
क्या है ये करतार।

ये दुनियां दोधारी तलवार।

लालाजी के अपने जलवे सेवा है व्यापार
बेईमानी करे सो खाये गाय हमारे यार
गुल्लक वाली गाय रखी है
काउंटर के पार
है अपना करम धरम का सार
ये दुनियां दोधारी तलवार।

बाबाजी का गूढ ज्ञान है,
अज्ञानी संसार,
माया त्यागे ईश मिलेंगे
वन्दे करे विचार,
श्रद्धा जाग्रत कर अर्पित कर
तू हो जा भवसागर के पार

ये दुनियाँ दोधारी तलवार।

देवतुल्य सब मातु पिता
करते बच्चों से प्यार,
इसे उठाया उसे गिराया
स्वार्थ परक व्यवहार,
भाई भाई भूल रहे हैं
राम भरत सा प्यार,
नैतिकता का पतन कर रही दाढी बड़े शिकार।

ये दुनियाँ दोधारी तलवार।

Language: Hindi
114 Views
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