यादें
सोचता हूँ अब याद न करूँ..
उस बुरे वक्त को
उस कठिन राह को
उस भयभीत पल को
उस भयावह कल को
मगर कमबख्त ये यादें
याद आ ही जाती हैं
__________________बृज
सोचता हूँ अब याद न करूँ..
उस बुरे वक्त को
उस कठिन राह को
उस भयभीत पल को
उस भयावह कल को
मगर कमबख्त ये यादें
याद आ ही जाती हैं
__________________बृज