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10 Jul 2022 · 1 min read

मैं डरती हूं।

अपनी कमियों से डरती हूं। अपनी अज्ञानता से करती हैं।
जीवन अनमोल है। मौत से डर की से, संघर्ष से भागती हूं। संघर्ष जीवन से भी डरती है।
रेपिस्ट्स एजेंसी से डरती हूं।
पुनर्जन्म से डरती हूं।
कुछ अनहोनी ना हो जाए किस से डरती हूं।
बता जीतू कबतनाव में नहीं है जीवन।
बता कब जीती हूं।

Language: Hindi
4 Likes · 2 Comments · 390 Views
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