मेरी तन्हाई
भरी महफ़िल में हम तन्हा रह गए
भीड़ लगी है चारों तरफ हमारे
हम किसी के ना हो सके
ना जाने किस को ढूंढे है ये दिल
इस दुनिया में हम तन्हा ही रह गए!
मेरी हंसी को तो देख लिया
खुश हूँ मै तुम बिन अब
हंसी के पिछे इस दर्द को ना देखा
हँसते रहे हम अपने गमो को छुपाकर
इस इंतजार मे की कभी हम बता पाए तुमको
कैसे छुपाते हैं हम इस जहाँ से दर्द अपना!
तुमको बेवफा का इल्जाम ना देंगे
अपने ही प्यार को रुसवा ना करेंगे
तु ये बोल के गया की वापस आऊँगा
इस इंतजार मे जी रहे हैं आज भी हम
आश जिंदा हैं मेरी आयेगा कभी ना कभी तु!