“ मेरा रंगमंच और मेरा अभिनय ”
“ मेरा रंगमंच और मेरा अभिनय ”
डॉ लक्ष्मण झा परिमल
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यह मेरा रंगमंच है
इसमें मेरी ही चलती है
मैं खुद लिखता भी हूँ
कोई नयी बातों का
सृजन करता हूँ
मैं कथाकार भी हूँ
अपनी कहानी गढ़ता भी हूँ
कभी गा लेता हूँ
सुर भी लगा लेता हूँ
अभिनय की भंगिमा को
जीवंत रखने के लिए
अभिनय भी कर लेता हूँ
सब भाषाओं से
मुझे प्यार है
उसे मैं सीखना चाहता हूँ
रंग भेद ,क्षेत्रीयता ,असहिष्णुता
का समावेश यहाँ वर्जित है
प्यार और शिक्षा को
करते यहाँ अर्जित हैं
अपनी कला को
जगजाहिर करते हैं
इस रंगमंच का मैं ही
सूत्रधार हूँ कथाकार हूँ
मैं ही दिग्दर्शक और
मैं ही कलाकार हूँ
मुझे तनिक भी खेद नहीं
दर्शक कोई हो ना हो
मैं स्वयं ताली पीटता हूँ
कोई पीटने वाला हो ना हो
सब अपनो में व्यस्त
रहा करते हैं
दूसरों की सुध कौन लेता है
यहाँ तो अपनो से ही लोग दूर रहते हैं
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डॉ लक्ष्मण झा ” परिमल ”
साउंड हेल्थ क्लिनिक
एस ० पी ० कॉलेज रोड
दुमका
झारखण्ड
भारत
12.11.2022