मेरा एक अध्ययन।
समस्त पृथ्वी पर कोई भी प्राणी से लेकर तत्व एवं पदार्थ निर्जीव नहीं होता है।लोग कहते हैं कि हम शाकाहारी हैं।हम जो भी खाते पीते है। उनमें कोई न कोई तत्व सजीव होता है।जो कि हम उसे अपनी आंखों से देख नही सकते हैं।वह बहुत सूक्ष्म अवस्था में पाया जाता है। उदाहरण के लिए , मैं आपको बताता हूं।एक गेहूं का दाना,वह एक बीज है।अब दाने में क्या जीव नजर आ रहा है? वहीं शुष्क दाने को आप धरती में डाल दो ,वह कितने बीज उत्पन्न कर देयगा। हमने तो एक ही दाना डाला था। चूंकि उसमें जीव था
तभी तो वह जमीन में प्रकट हुआ । निर्जीव होता तो कैसे प्रकट होता। समस्त सृष्टि में अनेक प्रकार के जीव होते हैं। जिन्हें हम आंखों से देख नही सकते हैं। और कुछ शुष्क अवस्था में पाये जाते हैं। पत्थर में भी जीव पाया जाता है।फल ,फूल सब्जी कोई भी निर्जीव नहीं होती है।जब जीव बड़ा हो जाता है तब हमें किसी न किसी रूप में दिखाई देने लगता है। करोड़ों सूक्ष्म जीव हवा में तैरते हैं।पर ! उन्हें हम अपनी आंखों से देख नही सकते हैं।