मुझे मुश्किल में डाला है ( ग़ज़ल )
आपने मुस्कुरा कर के, मुझें मुश्किल में डाला है
बात आसान ये कर के, मुझें मुश्किल में डाला है ।
तुमको जब भी बुलाऊंगी आओगें तुम भी मिलने को
ऐसा वादा यूँ लेकर के, मुझें मुश्किल में डाला है ।
सभी आये थे छत पर तो चाँद को देखने उस दिन
आपने देखकर मुझको, मुझें मुश्किल में डाला है ।
मैं तुमको फिर बताऊंगी कहा और फ़ोन रख दिया
अधूरी बात कह कर के, मुझें मुश्किल में डाला है ।
वो सबने पूछा जब तुमसे पसन्द अपनी बताओ तुम
तो “चिंतन” नाम लेकर के, मुझें मुश्किल में डाला है ।।
– चिंतन जैन