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21 Mar 2018 · 1 min read

मुक्तक

मैं अपने सितमगर को सता कर आया हूँ!
मैं आज उनको बेवफा बता कर आया हूँ!
जख्मों को भूल जाना बहुत मुश्किल है मगर,
मैं रास्ता मयखाने का पता कर आया हूँ!

मुक्तककार- #मिथिलेश_राय

Language: Hindi
190 Views
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