Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
7 Oct 2019 · 1 min read

मुक्तक


कुछ अपने कुछ मेरे कुछ सब के बारे में लिखो,
कुछ तो लिखो यूँ चुप न रहो
चुप्पी मुर्दों पे जंचती है
जिन्दा हो तो जिंदगी की गिरहों को दांतों से ही खोलो।
…सिद्धार्थ
२.
अश्लील पुस्तकें और अश्लील सिनेमा
लिखने और बनाने वाले को कभी गालियां नही दी गई।
न ही उन्हें जलाया गया, न ही प्रतिबंधित की गई।
उन्हें सहज और सहज ढंग से पेश करने की छूट
और जमीन मुहैया कराई गई।
जलाना और रोकना बस वहां रहा जहां से लोग
अपने अधिकारों को समझना शुरु कर देते हैं…???
…सिद्धार्थ

Language: Hindi
1 Like · 1 Comment · 230 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
मेरी ख़ूबी बस इत्ती सी है कि मैं
मेरी ख़ूबी बस इत्ती सी है कि मैं "ड्रिंकर" न होते हुए भी "थिं
*प्रणय प्रभात*
आजादी..
आजादी..
Harminder Kaur
अबोध अंतस....
अबोध अंतस....
Santosh Soni
दीपावली
दीपावली
Suman (Aditi Angel 🧚🏻)
नव अंकुर स्फुटित हुआ है
नव अंकुर स्फुटित हुआ है
Shweta Soni
पिता
पिता
लक्ष्मी सिंह
हाथ में खल्ली डस्टर
हाथ में खल्ली डस्टर
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
बिल्कुल, बच्चों के सम्मान और आत्मविश्वास का ध्यान रखना बहुत
बिल्कुल, बच्चों के सम्मान और आत्मविश्वास का ध्यान रखना बहुत
पूर्वार्थ
तात
तात
डॉ०छोटेलाल सिंह 'मनमीत'
ग़ज़ल
ग़ज़ल
ईश्वर दयाल गोस्वामी
कलाकारी में भी यूं चार चांद लगाते हैं,
कलाकारी में भी यूं चार चांद लगाते हैं,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
छोटे दिल वाली दुनिया
छोटे दिल वाली दुनिया
ओनिका सेतिया 'अनु '
मधुर-मधुर मेरे दीपक जल
मधुर-मधुर मेरे दीपक जल
Pratibha Pandey
सेवा कार्य
सेवा कार्य
Mukesh Kumar Rishi Verma
"भौतिकी"
Dr. Kishan tandon kranti
बिन मांगे ही खुदा ने भरपूर दिया है
बिन मांगे ही खुदा ने भरपूर दिया है
हरवंश हृदय
कुछ तो बाकी है !
कुछ तो बाकी है !
Akash Yadav
জীবন নামক প্রশ্নের বই পড়ে সকল পাতার উত্তর পেয়েছি, কেবল তোমা
জীবন নামক প্রশ্নের বই পড়ে সকল পাতার উত্তর পেয়েছি, কেবল তোমা
Sakhawat Jisan
*
*"हिंदी"*
Shashi kala vyas
AGRICULTURE COACHING CHANDIGARH
AGRICULTURE COACHING CHANDIGARH
★ IPS KAMAL THAKUR ★
हम संभलते है, भटकते नहीं
हम संभलते है, भटकते नहीं
Ruchi Dubey
3193.*पूर्णिका*
3193.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
आप समझिये साहिब कागज और कलम की ताकत हर दुनिया की ताकत से बड़ी
आप समझिये साहिब कागज और कलम की ताकत हर दुनिया की ताकत से बड़ी
शेखर सिंह
मेरी खुशियों की दिवाली हो तुम।
मेरी खुशियों की दिवाली हो तुम।
Rj Anand Prajapati
"राजनीति में जोश, जुबाँ, ज़मीर, जज्बे और जज्बात सब बदल जाते ह
डॉ.एल. सी. जैदिया 'जैदि'
हाई स्कूल के मेंढक (छोटी कहानी)
हाई स्कूल के मेंढक (छोटी कहानी)
Ravi Prakash
मानवता
मानवता
विजय कुमार अग्रवाल
बदनाम ये आवारा जबीं हमसे हुई है
बदनाम ये आवारा जबीं हमसे हुई है
Sarfaraz Ahmed Aasee
दुम
दुम
Rajesh
*सुनो माँ*
*सुनो माँ*
sudhir kumar
Loading...