मुक्तक
छिपाये दिल में कोई दर्द का तूफ़ान लगते हैं,
ये इनसां क्यूँ मुझे इक दर्द की मुस्कान लगते हैं,
ये बिंदी, चूड़ियाँ, पायल, ये बिछुये, बालियाँ, कंगन
ये हैं पहचान भारत की, ये हिन्दुस्तान लगते हैं
छिपाये दिल में कोई दर्द का तूफ़ान लगते हैं,
ये इनसां क्यूँ मुझे इक दर्द की मुस्कान लगते हैं,
ये बिंदी, चूड़ियाँ, पायल, ये बिछुये, बालियाँ, कंगन
ये हैं पहचान भारत की, ये हिन्दुस्तान लगते हैं