-|| मां ||-
मां तेरी भी है कैसी करूं कहानी
आंचल में होता प्यार नयन में पानी
रह भूखे पेट संवारा तूने लाल जवानी
तेरी लोरी से बालक पाता नींद सुहानी
कष्टों के दिन देखे मां भरी जवानी
तूने देखे सपने तेरा लाल बने सेनानी
कुछ देते प्रकाश शेष करें बे पानी
यह कैसा है न्याय करता बालक मनमानी
अंतिम क्षण रोती ममता देख तेरी कहानी
अमर हो गई माता जी के बालक सन्मानी