माँ नाम अनमोल
ममता के सागर में मोती सी माँ
जीवन के हर पथ पर बनी ज्योति माँ
अपने अरमानो की बलि लगाकर
बच्चों के सपनों को सजाती है माँ
माँ तेरा नाता अनमोल न कोई इसका मोल
पहले मुख से निकले माँ नाम बोल
माँ के मुख से निकली हर दुआ होती पूरी
जीवन की हर मोड़ पर माँ तू कितनी जरूरी
गंगा की निर्मल धारा सा तेरा प्यार
निरन्तर बहती जिसकी हर धार