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28 Feb 2018 · 1 min read

महिला सशक्तिकरण दिवस पर कविता

महिलाओं तुम आगे आओ,है जरूरत तुमको सशक्त बनने की।
आ गयी है बारी अब,इस समाज की संकीर्ण सोच बदलने की।।

महिलाओं स्वयं तुमको ही खुद आगे बढ़ना होगा।
हो युगों-युगों से पूजनीय,अब तुमको जगना होगा।

बढ़ती रहना तुम यूँ ही सदा,पर अपनी पति न खोना तुम।
लज़्ज़ा ही सिर्फ तेरा गहना,इसको सँभाल कर रखना तुम।।

रचयिता-कवि कुलदीप प्रकाश शर्मा”दीपक”
मो.-9628368094,7985502377

Language: Hindi
304 Views
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