Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
1 May 2022 · 1 min read

मजदूर दिवस

जोखिम उठाकर संवारते हैं हमारी ज़िदगानी,
अपने श्रम की रोशनी से लिखते हैं हमारी कहानी।
समझते अहमियत …ना बुझने देते सड़क पर लगी बत्तियों को ,
तुम्हारी मेहनत और ज़ज्बे का अरु है नहीं कोई सानी।
✍️©अरुणा डोगरा शर्मा

Language: Hindi
2 Likes · 1 Comment · 271 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Aruna Dogra Sharma
View all
You may also like:
ग़ज़ल/नज़्म - शाम का ये आसमांँ आज कुछ धुंधलाया है
ग़ज़ल/नज़्म - शाम का ये आसमांँ आज कुछ धुंधलाया है
अनिल कुमार
जब हम गरीब थे तो दिल अमीर था
जब हम गरीब थे तो दिल अमीर था "कश्यप"।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
मुझे अधूरा ही रहने दो....
मुझे अधूरा ही रहने दो....
Santosh Soni
◆हरे-भरे रहने के लिए ज़रूरी है जड़ से जुड़े रहना।
◆हरे-भरे रहने के लिए ज़रूरी है जड़ से जुड़े रहना।
*Author प्रणय प्रभात*
जब किसान के बेटे को गोबर में बदबू आने लग जाए
जब किसान के बेटे को गोबर में बदबू आने लग जाए
शेखर सिंह
*चलो टहलने चलें पार्क में, घर से सब नर-नारी【गीत】*
*चलो टहलने चलें पार्क में, घर से सब नर-नारी【गीत】*
Ravi Prakash
गिरें पत्तों की परवाह कौन करें
गिरें पत्तों की परवाह कौन करें
Keshav kishor Kumar
मेरा प्यारा राज्य...... उत्तर प्रदेश
मेरा प्यारा राज्य...... उत्तर प्रदेश
Neeraj Agarwal
मुद्दा मंदिर का
मुद्दा मंदिर का
जय लगन कुमार हैप्पी
" रहना तुम्हारे सँग "
DrLakshman Jha Parimal
खालीपन – क्या करूँ ?
खालीपन – क्या करूँ ?
DR ARUN KUMAR SHASTRI
दुआ को असर चाहिए।
दुआ को असर चाहिए।
Taj Mohammad
Tum ibadat ka mauka to do,
Tum ibadat ka mauka to do,
Sakshi Tripathi
मेरी कलम से…
मेरी कलम से…
Anand Kumar
दिल ने दिल को दे दिया, उल्फ़त का पैग़ाम ।
दिल ने दिल को दे दिया, उल्फ़त का पैग़ाम ।
sushil sarna
सितारों को आगे बढ़ना पड़ेगा,
सितारों को आगे बढ़ना पड़ेगा,
Slok maurya "umang"
"भरोसा"
Dr. Kishan tandon kranti
मुहब्बत का घुट
मुहब्बत का घुट
डॉ विजय कुमार कन्नौजे
बसंत का आगम क्या कहिए...
बसंत का आगम क्या कहिए...
डॉ.सीमा अग्रवाल
पढ़े साहित्य, रचें साहित्य
पढ़े साहित्य, रचें साहित्य
संजय कुमार संजू
द्वितीय ब्रह्मचारिणी
द्वितीय ब्रह्मचारिणी
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
सावन
सावन
Ambika Garg *लाड़ो*
अर्ज किया है
अर्ज किया है
पूर्वार्थ
23/179.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
23/179.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
फुर्सत से आईने में जब तेरा दीदार किया।
फुर्सत से आईने में जब तेरा दीदार किया।
Phool gufran
प्रारब्ध भोगना है,
प्रारब्ध भोगना है,
Sanjay ' शून्य'
तमाशबीन जवानी
तमाशबीन जवानी
Shekhar Chandra Mitra
बाल कविता: तितली
बाल कविता: तितली
Rajesh Kumar Arjun
अच्छाई बनाम बुराई :- [ अच्छाई का फल ]
अच्छाई बनाम बुराई :- [ अच्छाई का फल ]
Surya Barman
Orange 🍊 cat
Orange 🍊 cat
Otteri Selvakumar
Loading...