#बेतकल्लुफ़_हुस्न 003
#बेतकल्लुफ़_हुस्न 003
तूने दी थी जो कसम जानम, देख मर के भी उसे निभाये हैं,
तेरी चाहत में ओे सनम जी, फ़र्ज़ हम अपना नही भुलाये हैं।
तूने वादा लिया था जो मुझसे, लौट के आऊंगा मै सरहद से,
ले सुर्ख जोड़े में तू आयी तो, हम भी तिरंगा कफ़न चढाये है।।
©® पांडेय चिदानंद “चिद्रूप”
(सर्वाधिकार सुरक्षित २४/१०/२०१८ )
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