बुरा तो ना मानोगी।
जरा सामने बैठो जी भर कर देख लूं तुमको।
बुरा तो ना मानोगी अगर थोड़ा प्यार कर लूं तुमको।।
शायद अब मुलाकात हो नो हो यूं जिंदगी में।
बाहों में समेट कर के थोड़ा महसूस कर लूं तुमको।।
✍✍ताज मोहम्मद✍✍
जरा सामने बैठो जी भर कर देख लूं तुमको।
बुरा तो ना मानोगी अगर थोड़ा प्यार कर लूं तुमको।।
शायद अब मुलाकात हो नो हो यूं जिंदगी में।
बाहों में समेट कर के थोड़ा महसूस कर लूं तुमको।।
✍✍ताज मोहम्मद✍✍