*बिल्ली मौसी हैं बीमार (बाल कविता)*
बिल्ली मौसी हैं बीमार (बाल कविता)
■■■■■■■■■■■■■■■■■■
(1)
चूहे खाए मोटे चार
बिल्ली मौसी हैं बीमार
(2)
कंबल ओढ़े लेटी हैं
चलने-फिरने से लाचार
(3)
कड़वी गोली खाएँगी
सुबह-शाम को अब दो बार
(4)
पतली दाल पिओ मौसी
चूहों का मत करो विचार
(5)
चूहों का परहेज नहीं
बिल्ली मौसी को स्वीकार
■■■■■■■■■■■■
रचयिता: रवि प्रकाश
बाजार सर्राफा, रामपुर (उत्तर प्रदेश)
मोबाइल 99976 15451