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15 Jul 2019 · 1 min read

बिजली

बिजली रानी, बिजनी रानी
करती तुम कैसी मनमानी

बेहाल हैं गर्मी के मारे
दर्शन दुर्लभ आज तुम्हारे

गर्मी से हम लाचार हुए
कूलर – पंखे बेकार हुए

गुस्से में इक ओर खड़ा है
फ्रिज देखो शोपीस बना है

बंद पड़ा टीवी का फाटक
छूट गया मम्मी का नाटक

बिन बिजली होता है सब सून
लगता पहाड़ के जैसा जून

Language: Hindi
2 Likes · 382 Views

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