बरसात संग आती हवा
बरसात संग आती हवा ।।
मिट्टी – धूल लाती हवा ,
या सूरज के पास से ,
या बदलो कि सांस से ।
मन को लुभाती हवा ,
बरसात संग आती हवा ।।
यह खेलती है ढाल से ,
ऊचे पेड़ों की टहनी से
धरती से ,आकाश से
झकझोर वाली लहराती हवा ,
बरसात संग आती हवा ।।
बार बार हो जाती प्रकट
हर डाल को लगती झपट ,
हर अंग से लिपट जाती
मन में आंनद भर जाती ।।
बरसात संग आती हवा,
तन मन को लुभाती हवा ।।