*फिर से बने विश्व गुरु भारत, ऐसा हिंदुस्तान हो (गीत)*
फिर से बने विश्व गुरु भारत, ऐसा हिंदुस्तान हो (गीत)
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फिर से बने विश्व गुरु भारत, ऐसा हिंदुस्तान हो
राम-कृष्ण की गौरव गाथा, भारत में हम गाऍं
वाल्मीकि-तुलसी की गूॅंजें, रामकथा शिक्षाऍं
घर-घर गीता ग्रंथ अनूठा, पावन और महान हो
प्रभु ने हमको वेद दिए हैं, दयानंद-से ज्ञाता
दुनिया में प्रत्येक मनुज को, हमने माना भ्राता
भारत को भारत की पूॅंजी, उपनिषदों का ज्ञान हो
राष्ट्र-ध्वजा सूदूर चंद्रमा, पर जाकर फहराऍं
कोरोना से लड़ें इस तरह, निज वैक्सीन बनाऍं
वैज्ञानिकता के पथ पर नित, अपना अनुसंधान हो
फिर से बने विश्व गुरु भारत, ऐसा हिंदुस्तान हो
रचयिता: रवि प्रकाश
बाजार सर्राफा, रामपुर, उत्तर प्रदेश
मोबाइल 9997615451