प्रवाहमान ज़िंदगी
प्रवाहमान है समय
प्रवाहमान ज़िंदगी
बहे नदी, तिरे घटा
बदल बदल रहे छटा
है एक गान ज़िंदगी
प्रवाहमान ज़िंदगी।
रंग हैं बदल रहे
रूप भी बदल रहे
बदल रहा है काल भी
दिवा निशी बदल रहे
बदल रहे ऋतु वलय
ग्रीष्म शीत चल रहे
बदल रहे लता कुसुम
बदल रही है वल्लरी
प्रवाहमान ज़िंदगी।
जो आज है
वह कल न था
जो कल रहे
न आज है
लहर लहर बदल रही
अनन्त सा निनाद है
गगन वही धरा वही
अणु अणु बदल रही
प्रवाहमान ज़िंदगी।
प्रवाहमान सूर्य है
प्रवाहमान तारा गण
प्रवाहमान नियम हैं
प्रवाहमान सन्तुलन
प्रवाहमान पथिक जन
प्रवाहमान है गली।
प्रवाहमान है समय
प्रवाहमान ज़िंदगी।
विपिन