पर्वों का माह –श्रावण
1.
माह वर्ष का पाँचवा , आया श्रावण मास।
शंकर जी को प्रिय बहुत , शिव पूजन हो खास।।
2.
पर्वों की भरमार है ,हरियाली संसार ।
शिव जी,बहन ,किसान हित, सावन है उपहार ।।
3.
रख व्रत सोम,प्रदोष का , पूजन करें सुजान ।
श्रावण में सब हों सफल, होता जन कल्याण ।।
4.
सावन में झूले पड़ें , सखियाँ हैं तैयार ।
नई ब्याहता के लिए ,प्रश्नों की बौछार ।।
5.
श्रावण शुक्ला पंचमी , नाग पंचमी नाम ।
तिथि अविर्भाव नाग की , हो विष दूर तमाम ।।
6.
शुक्ल पक्ष की सप्तमी , पावन सावन मास ।
कवि तुलसी का जन्म दिन , राम भक्त जो खास ।।
7.
श्रावण शुक्ल इकादशी , करें पुत्र व्रत प्राप्त ।
पुत्र दाय एकादशी , पुत्र सौख्य हो व्याप्त ।।
8.
सावन मैके का सदा , दे प्यारा सन्देश ।
पर्व मने राखी सहित , कजरी तीज विशेष ।।
9.
श्रावण शुक्ला पूर्णिमा , रक्षाबन्धन सर्व ।
उपाकर्म का यह दिवस , यज्ञोपवीत पर्व ।।
10.
शिवशंकर की हो कृपा , मिलता शुभ आशीष ।
श्रावण में अभिषेक से , मिटे जिंदगी टीस ।।
11.
सोमवार श्रावण सतत , महादेव हैं पूज्य ।
कावड़ भक्तों के अदद , दिखते पावन दृश्य ।।
12.
शिव भक्तों की टोलियाँ , हैं कावड़ के साथ ।
पवित्र जल अभिषेक कर , झुका रहे निज माथ ।।
13.
आया सावन झूम के , गाएँ गीत मल्हार ।
रिमझिम वर्षा हो रही , हरा भरा संसार ।।
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प्रबोध मिश्र ‘ हितैषी ‘
बड़वानी (म. प्र .)451551
मो.79 74 921 930