न टूटा है न टूटेगा —–! गजल / गीतिका
न टूटा है न टूटेगा,जोड़ा है ऐसा यह बन्धन।
धड़कती रहती कहती है,
मेरे दिल की यह धड़कन।।
तुम्ही हो प्यार भी मेरा,हो तुम्हीं संसार भी मेरा।
महकाते यूं ही रहना तुम,मेरे जीवन का मधुबन।।
लबों का राग तुमसे है, अति अनुराग तुमसे है ।
भ्रमर सा मै तो इठलाऊं, ओर गाता रहूं गुनगुन।।
प्रीत के हम दोनों पंछी,रीत दोनों निभा जाएं।
उड़े उन्मुक्त अंबर में, जहां न है कोई उलझन।।
गाएंगे सुनाएंगे,गीत हम खुशियों ही वाले।
अनुनय प्यार ही जीवन,हो सबकी यही तो लगन।।
राजेश व्यास “अनुनय”