धैर्य रखना जरा।
धैर्य रखना जरा, सब संभल जाएगा,
दौर खुशियों का जल्दी ही,फिर आएगा।
न घबराना,अन्धयारी रातों से तुम,
चाँद पूनम का, उजियारा फैलाएगा।
पतझड़ का मौसम,सब्र करलो थोड़ा,
सावन हरियाली खेतों की,फिर लाएगा।
दीया आस का, बुझने देना न तुम,
निराशा का भंवर,कुछ न कर पाएगा।
नतमस्तक हो हम,ईश्वर की शरण में,
अपनी कृपा का अमृत, वो बरसाएगा।।
By:Dr Swati Gupta