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5 Aug 2023 · 1 min read

दोहे – शीर्षक : समय

दोहे (समय)

कर मन सच्ची साधना , जीवन है उपहार ।
गँवा मनुज मत व्यर्थ ही , मिले न बारंबार ।।

मानव सच यह जान ले , समय बड़ा अनमोल ।
घड़ी घड़ी है बीतता , चले न टाल मटोल ।।

गति समय की नहीं रुके , चलती अपनी चाल ।
संग अगर उसके चलो , रखे सदा खुशहाल ।।

साथ समय के जो चले , साधे सभी निशान ।
सफल सदा ही वो रहे , हुआ जिसे यह ज्ञान ।।

समय बड़ा बलवान है , देता सभी जवाब ।
भले बुरे सब कर्म का , करता यही हिसाब ।।

समय एक है औषधी , भरता गहरे घाव ।
बड़े वेग से भागता , बिना दिखाये ताव ।।

जो नियमों को मानते , रहे समय अनुकूल ।
करते यदि अवमानना , हो जाता प्रतिकूल ।।

डाॅ रीता सिंह
चन्दौसी सम्भल

Language: Hindi
2 Likes · 186 Views
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