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गुमनाम 'बाबा'
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25 Sep 2023 · 1 min read
दोहा
दोहा
आकर बैठो पास तुम, होकर कभी अशेष।
फिर नैना पढ़कर कहो, नही प्रश्न अब शेष।।
©दुष्यन्त ‘बाबा’
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