दोषरहित
खुद को दोषरहित
साबित करने के लिए
कितनी कोशिश करनी
पड़ती है
जब कोई दोष हो ही न तो
उसे ढूंढने के लिए
कितनी मेहनत करनी
पड़ती है
ऐसे लोगों की संगत में
लगातार रहना जो
आप पर दोष ही मढ़ते रहें
और आप हों दोषरहित
के लिए
कितनी सजा भुगतनी
पड़ती है
दोषी न होने पर भी
दोषी का तमगा
गले में लटकाये लटकाये
एक पांव पर खड़े तपस्वी सी
तपस्या करनी पड़ती है।
मीनल
सुपुत्री श्री प्रमोद कुमार
इंडियन डाईकास्टिंग इंडस्ट्रीज
सासनी गेट, आगरा रोड
अलीगढ़ (उ.प्र.) – 202001