देखो आज है इतवार प्रिये।
देखो आज है इतवार प्रिये
निदिया विरचित त्योहार प्रिये
बस एक दिवस ही रहता है,
अपनी मर्जी से जीने का
ढंग से खाने औ पीने का
मुझको सोना ही प्यारा है
तुमको सोने का हार प्रिये
देखो आज है इतवार प्रिये।
चुन्नू मुन्नू से मंगवा लो
मीठा कुछ लज्जतदार प्रिये
इतवार सुखद है सुन्दर है,
करना ना तुम तकरार प्रिये
ये गायन का मृदु स्वर तेरा,
लगता क्यो प्रलयंकार प्रिये
देखो आज है इतवार प्रिये।
अनुराग दीक्षित