दूध पिलाना साँप को
कुंडलिया छंद..
दूध पिलाना साँप को, होती घातक नीति।
दुर्जन करता है नहीं, कभी सुजन से प्रीति।।
कभी सुजन से प्रीति, हाथ लगते डस लेता।
लाख करो उपकार, जहर केवल वह देता।।
भूल रहे जो लोग, सीख यह याद दिलाना।
‘राही’ घातक साँप, कभी मत दूध पिलाना।।384
डाॅ. राजेन्द्र सिंह ‘राही’
(बस्ती उ. प्र.)