दुःख का एहसास कहाँ
अपने आरामदायक मकानों में
दूसरे के दुःख का एहसास कहाँ
घर की मुलायम रज़ाई में
ठंडी का अह्सास कहाँ
भरे पेट हो जब अपने
भूखों का एहसास कहाँ
अपने सुखदायक जीवन में
दूसरे के दुःख का एहसास कहाँ
जब जीवन में सुख हो सारे
गरीबों के दुःख का एहसास कहाँ
इस दुनिया में सब कुछ मिलता है
बस अपनों का प्यार कहाँ I
-मीरा ठाकुर