दिल शिकस्त हुआ ही करता है …
जादा ए तलब पर दिल शिकस्त हुआ करते है,
तुमने ही तो नहीं छेड़ी कोई नई दास्तां।
सरकश ए गम में अक्सर नहाया करते है दीवाने,
तुममें न हो हिम्मत तो बदल लो रास्ता ।
जादा ए तलब पर दिल शिकस्त हुआ करते है,
तुमने ही तो नहीं छेड़ी कोई नई दास्तां।
सरकश ए गम में अक्सर नहाया करते है दीवाने,
तुममें न हो हिम्मत तो बदल लो रास्ता ।