Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
23 May 2022 · 1 min read

दिल के एहसास

ख़्वाहिशों का कसूर थोड़ी है ।
दिल के एहसास मार देते हैं ।।

डाॅ फौज़िया नसीम शाद

Language: Hindi
Tag: शेर
8 Likes · 142 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Dr fauzia Naseem shad
View all
You may also like:
ख़्वाबों की दुनिया
ख़्वाबों की दुनिया
Dr fauzia Naseem shad
हुनर है मुझमें
हुनर है मुझमें
Satish Srijan
हर राह सफर की।
हर राह सफर की।
Taj Mohammad
महाश्रृंङ्गार_छंद_विधान _सउदाहरण
महाश्रृंङ्गार_छंद_विधान _सउदाहरण
Subhash Singhai
तेवरी
तेवरी
कवि रमेशराज
"बहाव"
Dr. Kishan tandon kranti
मैं उनके मंदिर गया था / MUSAFIR BAITHA
मैं उनके मंदिर गया था / MUSAFIR BAITHA
Dr MusafiR BaithA
फिलिस्तीन इजराइल युद्ध
फिलिस्तीन इजराइल युद्ध
सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life)
ग़ज़ल
ग़ज़ल
Sushila joshi
राम काव्य मन्दिर बना,
राम काव्य मन्दिर बना,
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
देश गान
देश गान
Prakash Chandra
*नकली दाँतों से खाते हैं, साठ साल के बाद (हिंदी गजल/गीतिका)*
*नकली दाँतों से खाते हैं, साठ साल के बाद (हिंदी गजल/गीतिका)*
Ravi Prakash
गौतम बुद्ध के विचार --
गौतम बुद्ध के विचार --
Seema Garg
किन्नर व्यथा...
किन्नर व्यथा...
डॉ.सीमा अग्रवाल
चलो आज खुद को आजमाते हैं
चलो आज खुद को आजमाते हैं
कवि दीपक बवेजा
मैं घमंडी नहीं हूँ ना कभी घमंड किया हमने
मैं घमंडी नहीं हूँ ना कभी घमंड किया हमने
Dr. Man Mohan Krishna
खडा खोड झाली म्हणून एक पान फाडल की नवकोर एक पान नाहक निखळून
खडा खोड झाली म्हणून एक पान फाडल की नवकोर एक पान नाहक निखळून
Sampada
मां कुष्मांडा
मां कुष्मांडा
Mukesh Kumar Sonkar
ज़िंदगानी
ज़िंदगानी
Shyam Sundar Subramanian
राम नाम अवलंब बिनु, परमारथ की आस।
राम नाम अवलंब बिनु, परमारथ की आस।
Satyaveer vaishnav
हम इतने सभ्य है कि मत पूछो
हम इतने सभ्य है कि मत पूछो
ruby kumari
याद रे
याद रे
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
Pardushan
Pardushan
ASHISH KUMAR SINGH
दुनिया रैन बसेरा है
दुनिया रैन बसेरा है
अरशद रसूल बदायूंनी
🍃🌾🌾
🍃🌾🌾
Manoj Kushwaha PS
"कष्ट"
नेताम आर सी
दलित साहित्यकार कैलाश चंद चौहान की साहित्यिक यात्रा : एक वर्णन
दलित साहित्यकार कैलाश चंद चौहान की साहित्यिक यात्रा : एक वर्णन
Dr. Narendra Valmiki
अपने अपने कटघरे हैं
अपने अपने कटघरे हैं
Shivkumar Bilagrami
हमारे पास हार मानने के सभी कारण थे, लेकिन फिर भी हमने एक-दूस
हमारे पास हार मानने के सभी कारण थे, लेकिन फिर भी हमने एक-दूस
पूर्वार्थ
#लघुकथा-
#लघुकथा-
*प्रणय प्रभात*
Loading...