Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
4 Apr 2023 · 1 min read

तू भी धक्के खा, हे मुसाफिर ! ,

तू भी धक्के खा, हे मुसाफिर ! ,
उसी दुनिया में तू भी आया है,
जाने कितनों ने चमकायें है सितारें यहाँ,
तेरा सितारा भी ठीक वैसे ही चमक जाएगा।

बुद्ध प्रकाश,
मौदहा हमीरपुर।

1 Like · 474 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Buddha Prakash
View all
You may also like:
कुंडलिया
कुंडलिया
गुमनाम 'बाबा'
वफ़ा
वफ़ा
लक्ष्मी वर्मा प्रतीक्षा
पद्मावती पिक्चर के बहाने
पद्मावती पिक्चर के बहाने
Manju Singh
कौन  किसको पूछता है,
कौन किसको पूछता है,
Ajit Kumar "Karn"
मिल कर उस से दिल टूटेगा
मिल कर उस से दिल टूटेगा
हिमांशु Kulshrestha
ग्यारह होना
ग्यारह होना
Pankaj Bindas
..
..
*प्रणय प्रभात*
3184.*पूर्णिका*
3184.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
नए दौर का भारत
नए दौर का भारत
सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life)
*गोरे से काले हुए, रोगों का अहसान (दोहे)*
*गोरे से काले हुए, रोगों का अहसान (दोहे)*
Ravi Prakash
दस लक्षण पर्व
दस लक्षण पर्व
Seema gupta,Alwar
हिंदी दोहे विषय- मंगल
हिंदी दोहे विषय- मंगल
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
"वाह नारी तेरी जात"
Dr. Kishan tandon kranti
आज कल रिश्ते भी प्राइवेट जॉब जैसे हो गये है अच्छा ऑफर मिलते
आज कल रिश्ते भी प्राइवेट जॉब जैसे हो गये है अच्छा ऑफर मिलते
Rituraj shivem verma
वो ओस की बूंदे और यादें
वो ओस की बूंदे और यादें
Neeraj Agarwal
प्रेम वो भाषा है
प्रेम वो भाषा है
Dheerja Sharma
तुम्हीं रस्ता तुम्हीं मंज़िल
तुम्हीं रस्ता तुम्हीं मंज़िल
Monika Arora
व्यक्ति की सबसे बड़ी भक्ति और शक्ति यही होनी चाहिए कि वह खुद
व्यक्ति की सबसे बड़ी भक्ति और शक्ति यही होनी चाहिए कि वह खुद
Rj Anand Prajapati
पलकों से रुसवा हुए, उल्फत के सब ख्वाब ।
पलकों से रुसवा हुए, उल्फत के सब ख्वाब ।
sushil sarna
किसी ने चोट खाई, कोई टूटा, कोई बिखर गया
किसी ने चोट खाई, कोई टूटा, कोई बिखर गया
Manoj Mahato
रिश्तो से जितना उलझोगे
रिश्तो से जितना उलझोगे
Harminder Kaur
बेटी
बेटी
Dinesh Yadav (दिनेश यादव)
श्री राम मंदिर
श्री राम मंदिर
Mukesh Kumar Sonkar
बचा लो जरा -गजल
बचा लो जरा -गजल
Dr Mukesh 'Aseemit'
गुजर रही थी उसके होठों से मुस्कुराहटें,
गुजर रही थी उसके होठों से मुस्कुराहटें,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
राम नाम  हिय राख के, लायें मन विश्वास।
राम नाम हिय राख के, लायें मन विश्वास।
Vijay kumar Pandey
"होली है आई रे"
Rahul Singh
अगर लोग आपको rude समझते हैं तो समझने दें
अगर लोग आपको rude समझते हैं तो समझने दें
ruby kumari
ज़िंदगी देख
ज़िंदगी देख
Dr fauzia Naseem shad
आँखों-आँखों में हुये, सब गुनाह मंजूर।
आँखों-आँखों में हुये, सब गुनाह मंजूर।
Suryakant Dwivedi
Loading...