ताटंक छंद
बात बात पर करें सियासत, नेताओं का धंधा है!
मतदाता पर जान बूझ कर,हो जाता क्यों अंधा है!
बातों में इनकी आ जाती,जनता बिल्कुल भोली है!
नेताओं ने बात कौन सी, अब तक सच्ची बोली हैं!
रमेश शर्मा
बात बात पर करें सियासत, नेताओं का धंधा है!
मतदाता पर जान बूझ कर,हो जाता क्यों अंधा है!
बातों में इनकी आ जाती,जनता बिल्कुल भोली है!
नेताओं ने बात कौन सी, अब तक सच्ची बोली हैं!
रमेश शर्मा