तराने प्यार के गाने लगे
तराने प्यार के गाने लगे
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तराने प्यार के गाने लगे
नींद में भी बुड़बुड़ाने लगे
१
प्रेमरंग चढ़ने लगा इस कदर
सपने दिन में भी आने लगे
२
इश्क बीमारी का दिखे असर
ठीक ठाक भी सठियाने लगे
३
भूख प्यास ना रही आसपास
दर्शनों से हम बुझाने लगे
४
मोहब्बत के तरन्नुम में हम
प्रेमगीत हम गुनगनाने लगे
६
मय सा नशा आँखो में तेरी
नशे में दुनिया भूल जाने लगे
७
सुखविंद्र नहीँ किसी काम का
खामख्वाह लोग बताने लगे
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सुखविंद्र सिंह मनसीरत
खेड़ी राओ वाली (कैथल)